एशिया के सबसे बड़े एयरपोर्ट का हुआ शिलान्यास, जाने इस एयरपोर्ट की खासियत….

नेशनल- प्रधानमंत्री मोदी ने आज उत्तर प्रदेश के पांचवें और दुनिया के चौथे सबसे बड़े अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे जेवर एयरपोर्ट का शिलान्यास किया। इस दौरान उनके साथ राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौज़ूद थे। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने संबोधन की शुरुआत में कहा कि आप सभी को, देश के सभी लोगों को, उत्तर प्रदेश के भाई-बहनों को नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट की बहुत-बहुत बधाई। इसका बहुत बड़ा लाभ दिल्ली-एनसीआर और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के करोड़ों लोगों को होगा।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 21वीं सदी का भारत एक से बढ़कर एक आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण कर रहा है। नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट कनेक्टिविटी के जरिए बेहतर मॉडल बनेगा। यह उत्तर भारत का लॉजिस्टिक गेटवे बनेगा। यह पूरे क्षेत्र को नेशनल गतिशक्ति मास्टर प्लान का प्रतिबिंब बनाएगा। जेवर एयरपोर्ट के शिलान्यास के बाद पीएम मोदी ने कहा इस एयरपोर्ट के विकास के करोड़ों लोग लाभान्वित होंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि दिल्ली मुंबई एक्सप्रेस वे भी जल्द बनकर तैयार हो जाएगा।
इससे पहले इस आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि प्रधानमंत्री का निर्देश था कि एशिया का सबसे बड़ा हवाई अड्डा बनेगा तो उत्तर प्रदेश के जेवर में बनेगा। यहां आने वाले दिनों में 34,000 करोड़ से भी ज़्यादा का निवेश होगा। जेवर एयरपोर्ट को रोड, रेल, मेट्रो, बस सेवा से जोड़ा जाएगा। वहीं उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जेवर एयरपोर्ट के विकास से उत्तर प्रदेश में नौकरियों के अवसर बढ़ेंगे। इस एयरपोर्ट के कार्य को गति देने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ में प्रधानमंत्री मोदी का भी धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में यह एयरपोर्ट देश के प्रमुख एयरपोर्ट के रूप में विकसित होगा।

बता दे की जेवर एयरपोर्ट का निर्माण 5,845 हेक्टेयर जमीन पर हो रहा है। इस एयरपोर्ट की विशेषता यह है कि यहां के एक साथ करीब 178 विमान उड़ान भर सकेंगे। जेवर एयरपोर्ट के लिए पहले चरण में 1334 हेक्टेयर जमीन पर निर्माण कार्य होगा। एयरपोर्ट का निर्माण कार्य चार चरणों में पूरा होगा
जेवर एयरपोर्ट पर कुल 5 रनवे विकसित किए जाएंगे। शुरुआत में इस एयरपोर्ट से हर साल लगभग 1 करोड़ 20 लाख यात्री हवाई उड़ान भरेंगे। ऐसा अनुमान जताया गया है कि पहले ही साल यहां करीब 40 लाख यात्रियों की आवाजाही हो सकती है। जेवर एयरपोर्ट के सितंबर 2024 में शुरू होने की संभावना जताई जा रही है। दिल्‍ली के इंदिरा गांधी अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा से जेवर एयरपोर्ट की दूरी करीब 70 किलोमीटर है। ऐसे में दिल्‍ली एयरपोर्ट के एयर ट्रैफिक को कम करने के लिए जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट (NIA) काफी मददगार साबित हो सकता है।

जेवर एयरपोर्ट बनने के बाद उत्तर प्रदेश में बढ़ेगा निवेश
उत्तर प्रदेश उपमुख्‍यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या ने सोशल मीडिया ऐप कू पर एक वीडियो पोस्ट कर दावा किया है कि इस एयरपोर्ट के निर्माण से पहले चरण में लगभग 10,000 करोड़ रुपए का निवेश आने की संभावना है। उपमुख्यमंत्री केशव पससद मौर्या का कहना है कि जेवर एयरपोर्ट बनने से नोएडा तथा ग्रेटर नोएडा समेत पूरे जिले में करीब 34 से 35 हजार करोड़ रुपए का निवेश होने से रोजगार मिलने की उम्मीद बढ़ जाएगी। इन जिलों में नौकरियों के बंपर अवसर मिलेंगे।

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